Gaganyaan Mission: ‘गगनयान’ से पहले अंतरिक्ष में महिला रोबोट भेजेगा ISRO, देखिए पहली झलक

Gaganyaan Mission: ‘गगनयान’ से पहले अंतरिक्ष में महिला रोबोट भेजेगा ISRO, देखिए पहली झलक

Ezeonsoft Tech News Market News Science WORLD-NEWS

Gaganyaan Mission: ‘गगनयान’ से पहले अंतरिक्ष में महिला रोबोट भेजेगा ISRO, देखिए पहली झलक

Gaganyaan Mission:  'गगनयान' से पहले अंतरिक्ष में महिला रोबोट भेजेगा ISRO, देखिए पहली झलक

गगनयान मिशन(Gaganyaan) को लेकर इसरो अपनी तैयारियों में पूरी तरह जुटा है. 2021 के अंत या 2022 की शुरुआत तक इस मिशन को सफल करने के लिए इसरो अपनी ओर से कोई कोर कसर नही छोड़ रहा. खास तौर पर मानव मिशन को लेकर आयोजित 3 दिवसीय सेमिनार के उद्घाटन के मौके पर इसरो के चेयरमैन के सिवन ने कहा कि मानव मिशन के लिए सभी जरूरी मापदंड हासिल कर लिए है. ये हमारा महत्वाकांक्षी मिशन है अब तक इसरो री एंट्री सिस्टम, रिकवरी सिस्टम, क्रू एस्केप सिस्टम तैयार कर चुका है और अब हम लाइफ सपोर्ट सिस्टम पर तेजी से काम कर रहे हैं.

यह भी देखें :- फ़िनलैंड हवा से प्रोटीन कैसे बना रहा?

कौन है राम भक्त गोपाल जिसने जामिया से आजादी देने की शुरवात की- ‘आओ ले लो आजादी’

जेफ बेजोस फोन हैक: हैकिंग के लिए फेसबुक ने iOS को दोषी ठहराया

क्या-होती-है-शत्रु-संपत्ति-जिसे-मोदी-सरकार-बेचने-की-तैयारी-कर-रही-है

बिना दवा के मुंहासों का आ गया रामबाण इलाज, बस दिल लगाकर करना होगा ये काम

ये हैं खतरनाक कोरोना वायरस के लक्षण, जानिए कैसे करें बचाव

भारत की ओर चुने गए एयरफोर्स के वायु सैनिकों की ट्रेनिंग इसी माह रूस में शुरू हो जाएगी, पर हम दुनिया की तमाम स्पेस एजेंसी से भी सहयोग ले रहे हैं. मानव मिशन को भेजने से पहले इसरो दो बार एक रोबोट (ह्यूमनॉइड मॉडल, जो मानव की तरह दिखने वाला होगा) को भेजेगा. जिसे ‘व्योममित्र’ नाम दिया गया है. ह्यूमनॉइड मॉडल भेजने के पीछे इसरो का उद्देश्य मानव मिशन के दौरान होने वाले किसी भी बाधा को पहले से ही भाप लेना और उसका निपटारा करना है.

गगनयान को ले के जाने के लिए ह्यूमनॉइड रेटेड एम के 3 मॉड्यूल का प्रयोग किया जाएगा. ये जी एस एल वी दूसरे जी एस एल वी से थोड़ा अलग होगा क्योंकि इसे अंतरिक्ष यात्रियों की सुरक्षा का ध्यान रखना है. इस यान में क्रू एस्केप सिस्टम लगा होगा ताकि विषम परिस्थिति में वो अंतरिक्ष यात्रियों को सुरक्षित बाहर निकाल सके. इस यान के भीतर एक इंटेलिजेंट हेल्थ सिस्टम भी लगा होगा जो समय समय पर यान की सेहत की जानकारी देता रहेगा साथ ही किसी भी तकनीकी खराबी को ढूंढ सके जिससे मिशन बाधित न हो.

कैसा होगा गगनयान
गगनयान का ऑर्बिटर मॉडल वो जगह है जहाँ अंतरिक्ष यात्री रहेंगे. इस मॉडल में कई तरह के सिस्टम लगे होंगे जैसे बैठने की सीट, डिस्प्ले स्क्रीन, लाइफ सपोर्ट सिस्टम, स्टोरेज रैक, पैरा शूट, प्रोपल्सन सिस्टम और स्प्रेशन सिस्टम भी होगा. इसके भीतर एक सब सिस्टम भी होगा जिसमें सोलर पैनल बैटरी प्रोपल्सन सिस्टम लगे होंगे. 

एस्केप क्रू सिस्टम
क्रू एस्केप सिस्टम किसी भी मानव मिशन का सबसे अहम हिस्सा है क्योंकि अंतरिक्ष यात्री के जान के जोखिम को ये कम से कमतर करता है. गगन यान में क्रू एस्केप सिस्टम लगा होगा जिस्का इस्तेमाल विषम परिस्थितियों में किया जायेगा. ऐसी स्थिति में क्रू एस्केप सिस्टम गगन यान को अलग कर देगा ताकि वो पैरा शूट की मदद से सुरक्षित उतर सके. इसका उपयोग मिशन लांच के समय और अंतरिक्ष दोनों जगह पर होगा. लांच के समय की स्थिति से निपटने का सफल प्रयोग इसरो ने 2018 में ही सफल कर लिया था. अंतरिक्ष मे स्थिति से निपटने के लिये इसरो जल्द ही ये प्रयोग कर सकता है.

ह्यूमनॉइड मॉडल
ह्यूमनॉइड मॉडल, जो मानव की तरह दिखने वाला एक रोबोट होगा उसे पहले भेजा जाएगा. जिसे ‘व्योममित्र’ नाम दिया गया है. इसके शरीर का आधा भाग ही भेजा जाएगा जिसमे पांव नही होगी. इसके पीछे की वजह है कि अंतरिक्ष मे गुरुत्वाकर्षण नही होता ऐसी स्थिति में अंतरिक्ष मे चला नही जा सकता.  ‘व्योममित्र’  वो सभी काम करने में सक्षम है जो अंतरिक्ष के यात्री कर सकते हैं. मानवरहित मिशन की सफलता इसरो का हौसला बढ़ायेगी की मानव मिशन की दिशा में उसके प्रयास सही है.

अंतरिक्ष मे खाना
अंतरिक्ष में यात्री भोजन कैसे करेंगे और क्या उनको गरम खाना नसीब हो पायेगा. ये जिम्मेदारी डी आर डी ओ की मैसूर स्थित डिफेंस फूड लैबोरेटरी के जिम्मे है जो खाने को संभाल कर रखने के लिए विशेष पैकिंग की व्यवस्था करते हैं. यह खाना एक साल से अधिक संभाल कर रखा जा सकता है. खाने में ना सिर्फ शाकाहारी बल्कि मांसाहार भी उपलब्ध है. खाना गर्म करने के लिए उसके लिए बैटरी युक्त हीटर भी मौजूद रहेगा जिससे 10 मिनट के अंदर दो पैकेट खाना गर्म किया जा सकता.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *